Wednesday, October 15, 2008

Gazal - 6

पिगल्थिहुई बरफ्की एक, है येः कहानी
मथ पुछो मेरे दिलसे दिल्किरवानी

हवा बन्के आई ये रुथु जवानी
शमा जालाके गई, ये बारिशक पानी

मथ पुछो मेरे दिलसे दिल्किरवानी

घवा बनके ठ्हरी ये पत्थर दीवानी
उसे क्या पता येथोहै मेरि जिन्दगानी

मथ पुछो मेरे दिलसे दिल्किरवानी

बादल भी जलके सुके मेरि दिल्लागनी
भारिश वोबरसे क्या ये आसू या पानी

पिगल्थिहुई बरफ्की एक, है येः कहानी
मथ पुछो मेरे दिलसे दिल्किरवानी

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